
पंजाब विधानसभा में मनरेगा पर सियासी घमासान, मंत्री सौंद ने अकाली दल को घेरा
चंडीगढ़
पंजाब विधानसभा के स्पेशल सेशन के दौरान मंत्री तरुणप्रीत सिंह सौंद ने कहा कि भाजपा बहुत खतरनाक और जनविरोधी कानून लाई है, लेकिन सच तो यह है कि मनरेगा को पूरी तरह खत्म करने का कानून लाया गया है, जिसके खिलाफ उन्होंने प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने कहा कि इस तरह भाजपा ने गरीब दलित समाज की रोटी छीन ली है। भाजपा की केंद्र सरकार ने न सिर्फ मनरेगा नहीं, बल्कि दलित मजदूरों के मुंह से भी रोटी छीनी है। इस पॉलिसी ने देश के दलित मजदूरों के जीने का हक भी खत्म कर दिया है।
मंत्री सौंद ने कहा कि मनरेगा गरीब परिवारों के एक वक्त की रोटी का आखिरी सहारा था। मनरेगा को खत्म करना स्कीम लागू करने का फैसला नहीं, बल्कि दलित विरोधी सोच का ऐलान है। भाजपा ने दलित मजदूरों से काम छीना है और बच्चों से पढ़ाई का रास्ता छीना है। उन्होंने कहा कि भाजपा ने नैतिक रूप से दलितों से वोट मांगने का अधिकार खो दिया है। भाजपा की केंद्र सरकार के फैसलों ने बार-बार साबित किया है कि भाजपा दलितों से नफरत करती है। मनरेगा पर हमला करना असल में दलितों के अस्तित्व और इज्जत पर हमला करने जैसा है।
आज भाजपा की केंद्र सरकार ने दलित मजदूरों और गरीब परिवारों से वोट मांगने का अधिकार छीन लिया है। भाजपा को गरीबों की रोजी-रोटी की कोई परवाह नहीं है। अकाली दल (बादल) ने इस पूरे मामले पर पूरी तरह चुप्पी साध रखी है क्योंकि वह भाजपा के साथ फिर से जुड़ना चाहता है, इसलिए यह सदन सिफारिश करता है कि राज्य सरकार भाजपा सरकार से मांग करे कि मनरेगा को खत्म करने का फैसला तुरंत वापस लिया जाए और गरीब दलित परिवारों को काम की गारंटी दी जाए। मंत्री सौंद ने कहा कि पंजाब सरकार पूरी तरह से गरीबों और दलितों के साथ खड़ी है।



