अन्य राज्यछत्तीसगढ़

तेलीबांधा से वीआईपी रोड सौंदर्यीकरण में भ्रष्टाचार की होगी जांच

रायपुर

छत्तीसगढ़ विधानसभा बजट सत्र के तीसरा दिन सदन में प्रश्नकाल के दौरान तेलीबांधा से वीआईपी रोड सौंदर्यीकरण में भ्रष्टाचार का मुद्दा उठा। जिस पर पीडब्ल्यूडी मंत्री अरुण साव ने संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में समिति बनाकर जांच की घोषणा सदन में की है।

विधायक धर्मजीत सिंह ने जल जीवन मिशन के कामों को लेकर सवाल किया। मंत्री अरुण साव ने बताया कि हम काम कर रहे हैं। धर्मजीत सिंह ने कहा कि प्रदेश के अन्य विधानसभा क्षेत्र में भी यही मामला है कि पानी की टंकी बनाने के लिए जगह नहीं मिलती। अरुण साव ने कहा कि शिकायतें लगातार मिल रही थी, अच्छा और समय पर काम हो सरकार सुनिश्चित करेगी।

इसके बाद विधायक अजय चंद्राकर ने विधानसभा में रायपुर स्थित तेलीबांधा से वीआईपी रोड चौक तक डिवाइडर निर्माण कार्य संबंधी प्रश्न पूछा। विधायक चंद्राकर ने कहा कि पिछली सरकार में मैं अविश्वास प्रस्ताव लाया था। मैंने बताया था कि कुछ जादुई सड़क बन गई। जादू के मामले में इधर के लोग भी थे, अब इधर के लोग भी हो गए। विधायक अजय चंद्राकर के सवाल पर उप मुख्यमंत्री एवं लोक निर्माण विभाग के मंत्री अरुण साव ने कहा, संभागीय आयुक्त की अध्यक्षता में जांच करेंगे और जो भी कमी होगी उसे पर कार्रवाई होगी।

कांग्रेस विधायक संगीता सिन्हा ने संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र के सड़कों के सुधार पर सवाल किया। भाजपा विधायक राजेश राजेश मूणत ने कहा कि बिना प्रशानिक स्वीकृति के पिछली सरकार में कई टेंडर लगे हैं और कमीशन खाकर चले गए। इसे लेकर सदन में हंगामा होने लगा। अरुण साव ने जवाब देते हुए कहा कि यह विष्णुदेव साय की सरकार है। छत्तीसगढ़ में हम अच्छी सड़क बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

विधानसभा में मरवाही वनमंडल के अंतर्गत अनियमितता का मामला उठा। नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर चरणदास महंत ने मरवाही वनमंडल के अंतर्गत अनियमितता का मामला उठाते हुए कहा, लिखित जवाब में कहा गया है कि 72 प्रकरण जांच के लिये लंबित है। लगभग 40 करोड़ रुपये की गड़बड़ी का आरोप है। ये मेहरबानी किसके लिये है। पुराने मुख्यमंत्री के लिए या नये मुख्यमंत्री के लिए है? या किसी और के लिये है?वन मंत्री केदार कश्यप ने कहा- ये पूरा मामला हमारे संज्ञान में आया है। सभी मामलों में जल्द से जल्द जांच पूरी कर कार्रवाई की जाएगी। महंत ने कहा, 2020 में सिर्फ छह शिकायतों की बात हुई थी। तब कहा गया था कि 15 दिनों में जांच कर ली जाएगी। इस प्रकरण में विभाग के अधिकारी उत्तरदायी हैं। जिम्मेदार कौन है? मेहरबानी किसके लिये की जा रही है।वन मंत्री केदार कश्यप ने कहा, 79 मामले सामने आये थे। सात मामलों में जांच प्रक्रियाधीन हैं। बाकी 72 मामलों में जांच आने वाले छह महीनों के भीतर कर ली जाएगी। 7 मामलों में 35 अधिकारियों को दोषी पाया गया है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
slot gacor toto 4d slot toto slot gacor thailand slot777 slot tergacor https://mataerdigital.com/ istanapetir slot gacor cupangjp situs maxwin ayamjp gampang menang slot online slot gacor 777 tikusjp situs terbaru slot istanapetir situs terbaru slot istanapetir situs terbaru slot
lemonadestand.online monitordepok.com portal.pramukamaros.or.id elibrary.poltektranssdp-palembang.ac.id cutihos.wikaikon.co.id pmb.umpar.ac.id industri.cvbagus.co.id ppdb.smpn1mantup.sch.id taqwastory.sma1bukitkemuning.sch.id media.iainmadura.ac.id omedia.universitasbumigora.ac.id pik.omedia.universitasbumigora.ac.id https://threadsofhopetextiles.org/bekleng/indexing/ metro.jrs.or.id sim.kotaprabumulih.go.id web.sip.pn-kotaagung.go.id