दिल्ली

अरविंद केजरीवाल का बिजली हाफ-पानी माफ का वादा झूठा साबित हुआ: देवेन्द्र यादव

टीम एक्शन इंडिया
नई दिल्ली: दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेंद्र यादव ने बिजली वितरण कंपनियों (डिस्कॉम) के वित्त का कैग आॅडिट कराने की मांग की है। उन्होंने कहा कि डीईआरसी की सांठगांठ से बिजली कंपनियां दिल्ली में बिजली उपभोक्ताओं के बिलों पर विभिन्न तरह के सेस लगाकर हर वर्ष अतिरिक्त आर्थिक बोझ डाल रही है।

उन्होंने कहा कि पीपीएसी में 9 प्रतिशत वृद्धि के बाद बिलों पर 46 प्रतिशत पीपीएसी वसूला जाऐगा, जो 2015 में मात्र 1.7 प्रतिशत था। उन्हांने कहा कि इसकी भी जांच हो कि हर वर्ष पीपीएसी सेस में बढ़ोत्तरी वाजिब है जब पेंशन के लिए बिल पर 7 प्रतिशत लिया जा रहा है और फिक्स चार्ज, सरचार्ज, बिजली रेगुलेटरी चार्ज अतिरिक्त लिए जा रहे है। देवेन्द्र यादव ने कहा कि अरविंद केजरीवाल का बिजली हाफ-पानी माफ का वादा झूठा साबित हुआ। जहां बिजली के दुगने दाम देने पड़ रहे वहीं बिल देने के बावजूद पानी गंदा मिल रहा है।

उन्होंने कहा कि पिछले 10 वर्षों में मुफ्त बिजली देने पर आम लोगों को गुमराह किया जा रहा है क्योंकि 200 यूनिट की सब्सिडी मात्र 10 प्रतिशत तक को ही मिल रही है। क्योंकि 2015 से 2020-21 तक 6 वर्ष में उपभोक्तओं को 200 यूनिट के अंतर्गत 11743 करोड़ सब्सिडी की छूट दी गई और बिलों पर पीपीएसी, पेन्शन, फिक्स चार्ज, सरचार्ज, बिजली रेगुलेटरी चार्ज आदि के रुप में सरकार ने 37227 करोड की लूट की है।

देवेन्द्र यादव ने कहा कि कांग्रेस सरकार के समय केजरीवाल लगातार बिजली कंपनियों का केग द्वारा आॅडिट कराने की मांग करते थे परंतु दिल्ली की सत्ता में आने के बाद एक भी उन्होंने डीईआरसी को बिजली कंपनियों का आॅडिट कराने के आदेश नही दिए। जबकि उन्होंने भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) के माध्यम से तीन निजी बिजली वितरण कंपनियों के वित्त का आॅडिट करने का वादा किया था।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button