अन्य राज्यमध्य प्रदेश

बजट सत्र के दौरान सीएम डॉ. मोहन यादव ने गारमेंट सेक्टर की महिलाओं को 5 हजार रुपये इंसेंटिव देने की बात कही

भोपाल
मध्य प्रदेश विधानसभा में बजट सत्र के दौरान सीएम डॉ. मोहन यादव ने गारमेंट सेक्टर की महिलाओं को 5 हजार रुपये इंसेंटिव देने की बात कही है। राज्यपाल के अभिभाषण पर प्रस्तुत कृतज्ञता प्रस्ताव पर जवाब देते हुए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि हमारी सरकार सभी वर्गों के विकास पर ध्यान दे रही है। कांग्रेस की सरकार में जो कभी नहीं हुआ वह सब हमारे भाजपा सरकार ने करके दिखाया है। निवेश के जो प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं हुए अर्थव्यवस्था को नई दिशा और गति देंगे। प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि इस बात का प्रमाण है कि हमारी सरकार सही दिशा में काम कर रही है। केन बेतवा सिंचाई परियोजना को 20 वर्ष तक लटका कर रखा गया। इससे बुंदेलखंड की तस्वीर बदल जाएगी रोजगार के लिए हमारी सरकार काम कर रही है। सीएम ने कहा- 61000 लोगों को नियुक्ति पत्र दिए जा चुके हैं। आगामी 5 वर्ष में ढाई लाख पदों पर भर्ती होगी निजी क्षेत्र में भी 21 लाख से अधिक रोजगार के अवसर उपलब्ध होंगे।

पदोन्नति का रास्ता निकालने की दिशा में लगे हैं
ओबीसी आरक्षण को लेकर उन्होंने कहा कि हमने न्यायालय में अपना पक्ष प्रस्तुत कर दिया है। अनुसूचित जाति जनजाति पिछड़ा वर्ग और गरीबों के हित में सरकार काम कर रही है पदोन्नति का रास्ता निकालने की दिशा में भी हम लगे हैं।

महिला बजट में लाड़ली बहनों को 18,669 करोड़ रुपये
मध्य प्रदेश सरकार ने महिला एवं बाल विकास विभाग के बजट में लाड़ली बहना योजना को सर्वाधिक राशि इस योजना को देकर अपनी प्राथमिकता स्पष्ट कर दी है। इस विभाग के 26,797 करोड़ रुपये के बजट में से अकेले इस योजना पर 18,669 करोड़ रुपये व्यय होंगे। प्रदेश में 1.27 करोड़ लाड़ली बहनें हैं, जिन्हें सरकार प्रति माह 1,250 रुपये देती है। लाड़ली लक्ष्मी योजना के लिए 1,183 करोड़ रुपये रखे गए हैं। अभी तक प्रदेश में लाड़ली लक्ष्मी योजना में 12,932 करोड़ रुपये का निवेश किया जा चुका है।

कौशल विकास का प्रशिक्षण भी मिलेगा
सरकार की प्राथमिकता में नारी कल्याण हमेशा से रहा है। नारी सशक्तीकरण मिशन लागू किया गया है, जिसमें महिलाओं के सर्वांगीण विकास पर जोर है। उन्हें अपने पैरों पर खड़ा करने के लिए जहां आजीविका मिशन के स्व-सहायता समूहों के माध्यम से ऋण दिलाया जाएगा तो कौशल विकास का प्रशिक्षण भी मिलेगा। आंगनबाड़ी सेवाओं के लिए 3,729 करोड़ रुपये प्रस्तावित किए गए हैं। प्रदेश में 12,670 मिनी आंगनबाड़ी को पूर्ण आंगनबाड़ी में परिवर्तित किया गया है। 24,662 आंगनबाड़ी केंद्रों को सक्षम आंगनबाड़ी केंद्र के रूप में उन्नत किया जा रहा है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button