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RTO के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा का दुबई में 150 करोड़ का विला , नौकरी के 7 साल में बनाई 550 करोड़ की संपत्ति

भोपाल

परिवहन विभाग में आरक्षक पद पर कार्यरत रहे सौरभ शर्मा का नाम कालेधन के बड़े मामले में सामने आया है। लोकायुक्त पुलिस की छापेमारी में करोड़ों की बेनामी संपत्ति, नकदी और सोने की बरामदगी के बाद अब सौरभ के काले कारनामों का पर्दाफाश हो रहा है। दावा है कि नौकरी में सिर्फ सात साल के भीतर उसने अपने सहयोगियों के साथ मिलकर 550 करोड़ रुपए की संपत्ति बना ली।  

सौरभ हर धंधे में आजमा रहा था अपने हाथ

लोकायुक्त की गिरफ्त में आने के बाद खुलासा हुआ है कि सौरभ पैसे का लेनदेन हवाला के जरिए करता था, सौरभ ने ग्वालियर और भोपाल में पत्नी दिव्या और चेतन के नाम पर करोड़ों की प्रॉपर्टी खरीद रखी थी। सागर में पत्नी के नाम पर मछली पालन का भी ठेका उसने लिया था और पेट्रोल पंप और अन्य जगह भी पैसा लगाया था।

अभी कई राज खुलना बाकी

सौरभ के घर पर चेक पोस्ट की रसीद  कैसे पहुंची? कितने चेक पोस्ट से पैसे कलेक्ट करता था? पूरे नेटवर्क में कौन-कौन लोग शामिल थे?
चेक पोस्ट का कितना पैसा किसको जाता था? यह राज खुलने अभी बाकी हैं।

कोर्ट में सरेंडर करने पहुंचा था सौरभ शर्मा

 सोमवार को 28 जनवरी को कोर्ट में सरेंडर करने सौरभ शर्मा पहुंचा था। लेकिन आवेदन के बाद अदालत ने जांच एजेंसी से डायरी मंगवाई थी, जिसके बाद उसे अगले दिन आने के लिए कहा वकील का कहना है कि मंगलवार की सुबह 11 बजे जैसे ही सौरभ कोर्ट जा रहा था। लोकायुक्त ने उसे बाहर से ही गिरफ्तार कर लिया और लोकायुक्त ऑफिस ले गयी।

हवाला के जरिए करोड़ों का लेन-देन  

एफआईआर में यह भी बताया गया है कि सौरभ हवाला के जरिए नियमित रूप से करोड़ों रुपए का लेन-देन करता था। इसमें लोकेश सदासिवन नामक व्यक्ति उसकी मदद करता था। सौरभ ने लोकेश के नाम पर भी कई कंपनियां खड़ी कर रखी थीं।
संपत्तियों की छानबीन  

लोकायुक्त पुलिस ने भोपाल स्थित अरेरा कॉलोनी में सौरभ के आवास और कार्यालय पर छापेमारी कर करोड़ों की संपत्तियों से जुड़े दस्तावेज बरामद किए हैं। पुलिस ने पाया कि सौरभ ने सूखी सेवनिया में वेयरहाउस, होशंगाबाद रोड पर पेट्रोल पंप और शाहपुरा में एक स्कूल फ्रेंचाइजी बनाई थी।  

सोने और नकदी के मालिक की तलाश  

सौरभ की गिरफ्तारी के बाद आयकर विभाग भी सक्रिय हो गया है। भोपाल के नजदीक एक प्लॉट से जब्त 52 किलो सोने और 11 करोड़ नकदी के असली मालिक की तलाश जारी है। इस सोने पर दुबई, ऑस्ट्रेलिया और स्विट्जरलैंड की मुहरें लगी हैं, जिससे संदेह है कि इसे विदेश से आयात किया गया था।  

फरारी के दौरान कई राज्यों में छिपा  

जांच में खुलासा हुआ कि फरारी के दौरान सौरभ दिल्ली, उत्तराखंड, हरियाणा, ग्वालियर में रुका था। वहीं, अशोकनगर, गंजबासौदा और विदिशा के रास्ते भोपाल पहुंचा था। टोल नाकों से बचने के लिए उसने सड़क मार्ग से भोपाल तक की यात्रा की थी।   

सौरभ से जुड़ी संपत्तियों की सूची  

– वेयरहाउस: सूखी सेवनिया, भोपाल  
– पेट्रोल पंप: होशंगाबाद रोड और औबेदुल्लागंज  
– स्कूल: शाहपुरा में जयपुरिया स्कूल की फ्रेंचाइजी  
– प्लॉट्स: भोपाल और ग्वालियर में कई प्लॉट  
– मकान: इंदौर में तीन मकान और भोपाल में चार बंगले  
– व्यवसाय: मछली पालन का ठेका झांसी के ललितपुर क्षेत्र में  
– बंगला: दुबई में 150 करोड़ का बंगला  

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