हरियाणा

निराश्रित व अनाथ बच्चों की शिक्षा व पालन-पोषण का खर्च उठाएगी सरकार

भिवानी: प्रदेश सरकार बाल गृह में आने वाले सभी निराश्रित और अनाथ बच्चों की हरिहर योजना के तहत शिक्षा और पालन-पोषण का खर्च वहन करेगी। एक्सग्रेसिया पॉलिसी के तहत 18 वर्ष की आयु प्राप्त करने पर अनाथ बच्चों को ग्रुप सी और डी की नौकरी दी जाएगी। उपायुक्त नरेश नरवाल ने बुधवार को बताया कि प्रदेश में अनाथ बच्चों का पालन-पोषण सरकार की ओर से किया जा रहा है।

इस कार्य के लिए सरकार ने इस योजना का नाम हरिहर योजना रखा है। उन्होंने बताया कि 18 वर्ष की उम्र पूरी करने के बाद ऐसे युवाओं को सरकार सीधे एक्सग्रेसिया पॉलिसी में कवर करेगी और गु्रप सी और डी की नौकरी दी जाएगी। इसके लिए उन्हें किसी तरह के एग्जाम भी नहीं देने होंगे। उपायुक्त ने बताया कि अगर ऐसे युवा ग्रेजुएट और पोस्ट-ग्रेजुएट करते हैं तो वे क्लास-वन और क्लास-टू की नौकरी के भी हकदार होंगे, लेकिन इसके लिए उन्हें लिखित परीक्षा पास करनी होगी।

ऐसे सभी युवाओं को सरकार आर्थिक रूप से पिछड़े वर्गों की कैटेगरी में रखेगी और नौकरियों में 10 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था उन पर लागू होगी। उन्होंने बताया कि नौकरी के बाद संबंधित युवा या युवती की शादी होने तक उनकी सैलरी बैंक खाते में जमा होगी। अगर उसे आगे की पढ़ाई जारी रखनी है या और कोई ट्रेनिंग या कोचिंग लेनी है तो वह खाते से 20 प्रतिशत तक पैसा ही निकलवा सकेगा।

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