
आबकारी विभाग ने अपनाई जा रही शराब दुकानों की नीलामी की प्रक्रिया से 26% अधिक रेवेन्यू मिला
भोपाल
आबकारी विभाग द्वारा इस साल अपनाई जा रही शराब दुकानों की नीलामी की प्रक्रिया से लगभग 26% अधिक रेवेन्यू मिला है। रविवार को बिडिंग से मिली दुकानों की नीलामी राशि की तुलना ई टेंडर में आई बोलियों से की गई।
रिन्युअल और लाटरी के बाद बची दुकानों की नीलामी के लिए इस बार आबकारी विभाग ने नया फार्मूला तय किया था। ई टेंडर से बोलियां मांगी ई थी। साथ ही एक अन्य विकल्प में ई टेंडर के साथ बिडिंग करके बोली बढ़ाने का विकल्प था, जो शनिवार को हुआ था। इन मूल्यों की तुलना आज सिर्फ ई-टेंडर वाली बोलियों से की गई। जो भी अधिक मूल्य था, उस पर नीलामी कर दी गई। भोपाल, अनूपपुर और बुरहानपुर जैसे शहरों में रिजर्व प्राइस से काफी अधिक रेवेन्यू मिला। रिन्युअल में 5737 करोड़ तो लाटरी की प्रक्रिया में 1572 करोड़ रेवेन्यू मिला था। अभी जो समूह बचे हुए हैं, उनसे लगभग 4700 करोड़ रुपए रेवन्यू मिलना है।
3 जिलों में नीलामी नहीं
जबलपुर में 4, राजगढ़ में 2 तो दमोह में 1 समूह ही बना था। इस वजह से नीलामी की प्रक्रिया शुरू नहीं हो सकी, इसलिए अब जबलपुर में 29, राजगढ़ में 5 तो दमोह में 7 समूह बना दिए गए हैं ताकि छोटे ठेकेदार भी नीलामी में भाग ले सकें। 10 मार्च से दोबारा यही प्रक्रिया दोहराई जाएगी। 13 को बिडिंग और ई-टेंडर एक साथ फाइनल कर लिए जाएंगे। इस साल नीलामी में लगभग 17 हजार करोड़ रेवन्यू मिलने की उम्मीद है।