हिमाचल प्रदेश

प्रदेश में ध्वस्त हो रही कानून व्यवस्था: जयराम

टीम एक्शन इंडिया/ शिमला/ चनम शर्मा
भाजपा हिमाचल प्रदेश में शिमला मैदान में विशाल धरना प्रदर्शन का आयोजन किया जिसमें भाजपा का शीश नेतृत्व उपस्थित रहा। हजार कार्यकराओ के साथ भाजपा ने विधान सभा की तरफ चार्ज किया। धरने के अध्यक्षता प्रदेश अध्यक्ष डॉ राजीव बिंदल ने की उनके साथ प्रदेश प्रभारी अविनाश राय खन्ना,नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर, सुरेश कश्यप, सिकंदर कुमार, इंदु गोस्वामी, बिहारी लाल शर्मा, त्रिलोक कपूर, सभी विधायक और प्रदेश पाधिकारी उपस्थित रहे। भाजपा नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा चुनाव के समय झूठे वादों और गारंटियों से जनता को गुमराह करके सत्ता में आई कांग्रेस का असली चेहरा 9 महीनों में ही बेनकाब हो गया है। इस सरकार का न तो कोई विजन है और न ही कोई प्राथमिकता।

सत्ता के मजे ले रही इस सरकार को जनता की पीड़ा का भी कोई अहसास या परवाह नहीं है। यहां तक कि प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए भी सरकार में कोई तालमेल नजर नहीं आया। मुख्यमंत्री, मंत्री और कांग्रेस नेता अलग-अलग राग अलापते रहे। आपदा पीड़ितों की सही मायनों में मदद करने के बजाए कांग्रेस सरकार का फ ोकस इस बात पर रहा कि त्रासदी की वजह से राजनीतिक नुकसान से कैसे बचा जाए। कोई भी सरकार देश या प्रदेश को आगे बढ़ाने के लिए बनती है, लेकिन हिमाचल में कांग्रेस की सरकार इस पर्वतीय राज्य को पीछे धकेलने का काम कर रही है। आपदा से उबरने के लिए केंद्र से भरपूर मदद मिलने के बावजूद अहसानफ रामोश सत्ता पक्ष केंद्र सरकार पर हिमाचल की अनदेखी के झूठे आरोप लगा रहा है। शिमला में आक्रोश रैली में पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि 9 महीने पहले सत्ता में आई कांग्रेस ने एक भी फैसला जनहित में नहीं लिया। उसने कदम-कदम पर जनविरोधी फैसले लिए। भर्ती परीक्षाओं के रिजल्ट नहीं निकाले जा रहे हैं।

कोरोना के समय नियुक्त किए गए लगभग 1800 कर्मचारियों को नौकरी से हटाने के नोटिस जारी हो चुके हैं। इसी तरह पीडब्ल्यूडी और आईपीएच समेत कई अन्य विभागों और संस्थानों से हजारों आउटसोर्स कर्मचारियों को घर भेज दिया गया। इसके चलते प्रदेश में अराजकता का माहौल है। सीमा शुल्क, टोल बैरियरों पर उठ रहे विवादों से प्रदेश के टैक्सी व ट्रक चालकों तथा औद्योगिक घरानों को आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है। बिगड़ती कानून व्यवस्था मौजूदा सरकार की एक बड़ी नाकामी है। प्रदेश में कानून व्यवस्था का पूरी तरह से जनाजा निकल गया है। आलम यह है कि असामाजिक तत्व बेखौफ होकर दिन-दिहाड़े आपराधिक वारदातों को अंजाम दे रहे हैं, जिससे देवभूमि हिमाचल की छवि दागदार हो रही है। कांग्रेस सरकार के राज में प्रदेश की महिलाओं से हो रही निर्लज्जता और घिनौनी हरकतें प्रदेश को शर्मसार कर रही हैं। इसका एक जीता-जागता उदाहरण मुख्यमंत्री के गृह जिला में भी सामने आया है। कांग्रेस शासनकाल में आए दिन कानून की धज्जियां सरेआम उड़ रही हैं।

भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद सुरेश कश्यप ने कहा संस्थानों का क्या कसूर कांग्रेस पार्टी का दस्तूरए प्रदेश में आउटसोर्स,अनुबन्ध व कई विभागों में सेवाएं दे रहे कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखाया जा रहा है। मॉनसून सत्र के आरम्भ होते ही घेराव, हल्ला बोल, आंदोलन, धरने प्रदर्शन का दौर विभिन राजनीतिक दल,कर्मचारी, विद्यार्थी व संगठन द्वारा लगातार जारी है जो सरकार की कार्यप्रणाली को कटघरे में खड़ा करता है। युवाओं को रोजगार के नाम पर झूठे प्रलोभन देकर ठगा गया है। सत्ता में आते ही सरकार के मंसूबे हजारों संस्थानों पर ताले जड़ कर डी-नोटिफ ाई करना द्वेष की राजनीति को जन्म देती है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button